आसमा से लौट के
आजा तू इस जमीं पे
जहां मिले थे हम दोनो
मैं मिलूंगा तुमको वहीं पे
आसमा से लौट के
आजा तू इस जमीं पे
जहां मिले थे हम दोनो
मैं मिलूंगा तुमको वहीं पे
तू दिल से निकलने का
नाम क्यों नही लेती
सब कर के खतम
अंजाम क्यों नही देती
मेरा बस चले तो
मैं सारी बातें बोल दूं
शायही सूखे कलम की तो
आसूं घोल दूं
पर लिख दूं वो बातें
जो ना कह सका कभी
तेरी लत ऐसी लगी
दूर रह सका नहीं
चुप रह कर
मैने झेले थे गम
हसीन था सब
जब अकेले थे हम
पर
तन्हा हूं मैं
अब तन्हा हूं मैं
मन लगता नही
क्या मर जाऊं मैं
तू था घर मेरा
कैसे घर जाऊं मैं
कुछ दिखता नही
किधर जाऊं मैं
समेटेगा कौन
जो बिखर जाऊं मैं
जिद्दी हूं बहुत
अड़ जाऊं मैं
तू जो मिले तो
सुधर जाऊं मैं
इश्क में तेरे
बिगड़ जाऊं मैं
बिगड़ जाऊं मैं
बिगड़ जाऊं मैं
आसमा से लौट के
आजा तू इस जमीं पे
जहां मिले थे हम दोनो
मैं मिलूंगा तुमको वहीं पे
आसमा से लौट के
आजा तू इस जमीं पे
जहां मिले थे हम दोनो
मैं मिलूंगा तुमको वहीं पे
होते है नाजुक सताए हुए
टूट ही जाते दिल लगाए हुए
खिलते हैं फूल मुरझाए हुए
पर लौट के आएं कैसे जाए हुए
होते है नाजुक सताए हुए
टूट ही जाते दिल लगाए हुए
खिलते हैं फूल मुरझाए हुए
पर लौट के आएं कैसे जाए हुए
Baby you
Baby you'll see it!
Baby you
Baby you'll see it!