बरसो से मूड़ मूड़ कर देखा उन रातो को
प्यार से जो जुल्फे तेरी छेड़ी ही सीने से
खबूव जो तेरी मिट जाए कभी ना कभी
मेरा फासी थोड़ी तू, पर प्यारी भी थे तू
और नखरे वाली तू
फिर झूठे वादे कसमें खा क कैसे करती तू
आदत सी बन गई तू और ज़िद भी मेरी तू
फिर पूछता हूँ क्यूँ
दिल माँगे जो माँगे
दुनिया की खबरों में
थोड़ा सा था में आवारा
हो सके तो दिल लगी खुद से तू आज़मा ले जाना
बड़े बड़ो को देखा है
तुझ पे गिरते मरते यारा
आदमी हूँ में बस
यून नज़रो से तू ना बहकना
ओ मेरे सोनिया
ना कर इश्क़ लड़ा कर भी पूछेगी क्या
दिल में तू ही तू
सोनिया
मेरा फासी थोरी तू, पर प्यारी थे भी तू
और नखरे वाली भी तू
फिर झूठे वादे कसमें खा क कैसे करती तू
आदत सी बन गई तू और ज़िद भी मेरी तू
फिर पूछता हूँ क्यूँ
दिल माँगे जो माँगे
दुनिया की खबरों में
थोड़ा सा था में आवारा
हो स्के तो दिल लगी खुद से तू आज़मा ले जाना
बड़ो बड़ो को देखा है
तुझ पे गिरते मरते यारा
आदमी हूँ में बस
यून नज़रो से तू बहकना
सोचो तो तुम मेरी मेरा तेरा हो जाऊ तू
जो भी गलत हो करते करते रुकते नहीं को
होंठो को छूते ही वक्त खो जाए कहीं हाय कहीं
करीब आ के तू धड़कन जगा गई तू
अफ इतनी प्यारी तू
आब दूर रह क प्यार से क्यूँ दिल जलती तू
दिल में तेरे तू हूँ, खुद कहती रहती तू
ज़माने को तू भूल मेरी बस हो जा तू
ग़लतीओव को हटाकर यादो को दिल से थमा के सज़ा के
तुम दखो ज़रा फिर कभी ना कभी
हम मिले तू जाने किस का दिल यॅ कहे
मेरा हो जा बस तू
दुनिया की खबरों में
थोड़ा सा था में आवारा
हो स्के तो दिल लगी खुद से तू आज़मा ले जाना
बड़ो बड़ो को देखा है
तुझ पे गिरते मरते यारा
आदमी हूँ में बस
यून नज़रो से तू बहकना
दुनिया की खबरों में
थोड़ा सा था में आवारा
हो स्के तो दिल लगी खुद से तू आज़मा ले जाना
बड़ो बड़ो को देखा है
तुझ पे गिरते मरते यारा
आदमी हूँ में बस
यून नज़रो से तू बहकना
दुनिया की खबरों में
थोड़ा सा था में आवारा
हो स्के तो दिल लगी खुद से तू आज़मा ले जाना
बड़ो बड़ो को देखा है
तुझ पे गिरते मरते यारा
आदमी हूँ में बस
यून नज़रो से तू बहकना