ना मारेगी दीवानगी मेरी, ना मारेगी आवारगी मेरी
के मारेगी ज़्यादा मुझे मौत से नाराज़गी तेरी
क्यूँ इतना हुआ है तू ख़फ़ा है ज़िद किस बात की तेरी
के मारेगी ज़्यादा मुझे मौत से नाराज़गी तेरी
जाँ निसार है, जाँ निसार
तेरे प्यार पे, मेरे यार, जाँ निसार है
हम्म्म
दुनिया, ज़माने से रिश्ते मिटाए हैं
तुझ से ही यारी है हमारी, एक बार तो आ
मैंने निभाया है, करके दिखाया है
ले तेरी बारी, एक वारी तू भी प्यार निभा
तू भी प्यार निभा, ओ, यारा
तेरी बेरुखी से है बड़ी उमर इंतज़ार की मेरी
के मारेगी ज़्यादा मुझे मौत से नाराज़गी तेरी
क्यूँ इतना हुआ है तू ख़फ़ा है ज़िद किस बात की तेरी
के मारेगी ज़्यादा मुझे मौत से नाराज़गी तेरी
जाँ निसार है, जाँ निसार
तेरे प्यार पे, मेरे यार
जाँ निसार है, जाँ निसार
तेरे प्यार पे, मेरे यार, जाँ निसार है,हम्म्म हम्म्म