हम्म हे हे हो ओ हो हे हे
मित ना मिला रे मनका
मित ना मिला रे मनका
हे मीत ना मिला रे मनका
मित ना मिला रे मनका
कोई तोह मिलान का कोई तोह मिलान का
करो रे उपाय
रे मित ना मिला रे मनका
मित ना
चैन नहीं बाहर
चैन नहीं घर में रे
चैन नहीं बाहर
चैन नहीं बाहर
चैन नहीं घर में
मन मेरा धरती पर
और कभी अम्बर में
उसको ढूँढा हर नगर में
हर डगर में
गली गली देखा नयन उठाये
रे मित ना मिला रे मनका
मित ना
रोज़ मैं अपने ही
प्यार को समझाउ
रोज़ मैं अपने ही
रोज़ मैं अपने ही
प्यार को समझाउ
वह नहीं आएगा मान नहीं पावु
शाम ही से प्रेम दीपक मैं जलाऊं
फिर वही दीपक दु में बुझाये
रे मित ना मिला रे मनका
मित ना
देर से मन मेरा आस लिए डोले
देर से मैं मेरा आस लिए डोले
रे देर से मन मेरा
देर से मन मेरा आस लिए डोले
प्रीत भरी बानी सांस मेरा बोले
कोई सजनि एक खिड़की भी ना खोले
लाख तराने रहा मै सुनाये
रे मित ना मिला रे मनका
मित ना
रे मित ना