Back to Top

Lata Mangeshkar - Nai Manzil Nai Rahen [Female] Lyrics



Lata Mangeshkar - Nai Manzil Nai Rahen [Female] Lyrics
Official




नयी मंज़िल नयी राहें नया है मेहर्बा अपना
ना जाने जाके ठहरेगा कहा ये कारवां अपना

बाहर आई है गुलशन मे खिली है हर तरफ़ कलिया
बाहर आई है गुलशन मे खिली है हर तरफ़ कलिया
हमे क्या ज़रूरत है चमन से बागबाँ अपना
ननयी मंज़िल नयी राहें नया है मेहर्बा अपना
ना जाने जाके ठहरेगा ये कारवां अपना

आ आ आ आ आ आ आ आ आ आ

लगी महेंदी बनी दुल्हन बजी शहनाईया लेकिन
लगी महेंदी बनी दुल्हन बजी शहनाईया लेकिन
ये मेरी बदनसीबी है के कोई नई हो अपना
नयी मंज़िल नयी राहें नया है मेहर्बा अपना
ना जाने जाके ठहरेगा कहा ये कारवां अपना
[ Correct these Lyrics ]

We currently do not have these lyrics. If you would like to submit them, please use the form below.


We currently do not have these lyrics. If you would like to submit them, please use the form below.




नयी मंज़िल नयी राहें नया है मेहर्बा अपना
ना जाने जाके ठहरेगा कहा ये कारवां अपना

बाहर आई है गुलशन मे खिली है हर तरफ़ कलिया
बाहर आई है गुलशन मे खिली है हर तरफ़ कलिया
हमे क्या ज़रूरत है चमन से बागबाँ अपना
ननयी मंज़िल नयी राहें नया है मेहर्बा अपना
ना जाने जाके ठहरेगा ये कारवां अपना

आ आ आ आ आ आ आ आ आ आ

लगी महेंदी बनी दुल्हन बजी शहनाईया लेकिन
लगी महेंदी बनी दुल्हन बजी शहनाईया लेकिन
ये मेरी बदनसीबी है के कोई नई हो अपना
नयी मंज़िल नयी राहें नया है मेहर्बा अपना
ना जाने जाके ठहरेगा कहा ये कारवां अपना
[ Correct these Lyrics ]
Writer: KUMAR HEMANT, S H Bihari
Copyright: Lyrics © Royalty Network




Lata Mangeshkar - Nai Manzil Nai Rahen [Female] Video
(Show video at the top of the page)

Tags:
No tags yet