यु रूठो न हसिना
मेरी जान पे बन जाएगी
मेरी जान पे बन जाएगी
यु रूठो न हसिना
मेरी जान पे बन जाएगी
मेरी जान पे बन जाएगी
हाय यु रूठो न हसिना
करते न जो बहाना नज़दीक कैसे आते
ये फ़ासला ये दूरी हम किस तरह मिटाते
हाथों में तुम न लेते जब हाथ ही हमारा
इस बेक़रार दिल को मिलता कहाँ सहारा
हाय यूँ रूठो ना हसीना
ये बाल बिखरे-बिखरे गालों पे यूँ न होते
ये नाग काले-काले फूलों में यूँ न सोते
ये रात का अन्धेरा दिन से गले न मिलता
उल्फ़त का शोख़ गुंचा ऐसे न दिल में खिलता
हाय यु रूठो न हसिना
मेरी जान पे बन जाएगी
मेरी जान पे बन जाएगी
हाय यु रूठो न हसिना
आओ करीब आओ पलकों पे बैठ जाओ
आँखों में झूम जाओ दिल में मेरे समाओ
अब मुस्करा के कह दो हम तो ख़फ़ा नहीं हैं
एक दिल है एक जाँ है हम-तुम जुदा नहीं हैं
हाय यूँ रूठो ना हसीना
मेरी जान पे बन जाएगी
मेरी जान पे बन जाएगी
यु रूठो न हसिना